52 दरवाज़ों के इस शहर में आने का हमारा मुख्य ध्येय घृष्णेश्वर ज्योतिर्लिंग Ghrishneshwar Jyotirlingam के दर्शन करना है। पर जब औरंगाबाद आये हैं तो एलोरा की गुफ़ाएं व यहां के अन्य आकर्षण देखे बिना भला कैसे जा सकते हैं!
चांद बावड़ी – राजस्थान के दर्शनीय स्थल (Chandbaori Jaipur)
चांद बावड़ी राजस्थान में जयपुर से 90 किमी दूर जयपुर अलवर मार्ग पर दौसा जिले के आभानेरी गांव में हर्षद माता मंदिर के बगल में मौजूद अतुल्य भारत का एक अद्भुत पर्यटन स्थल है। जहां देश – विदेश के पर्यटक खिंचे चले आते हैं।
जयपुर दर्शन – जन्तर मन्तर
बिना घड़ी, बिना दूरबीन और बिना किसी अन्य आधुनिक यंत्र की सहायता के सूर्योदय, सूर्यास्त, सूर्य ग्रहण, चन्द्र ग्रहण, विभिन्न ग्रहों की स्थिति, समय आदि की गणना जंतर मंतर के इन यंत्रों से की जा सकती है।
जयपुर दर्शन – सिटी पैलेस
जयपुर के सबसे महत्वपूर्ण आकर्षणों में से एक सिटी पैलेस पिंक सिटी के मध्य भाग में जन्तर मन्तर के बगल में स्थित है और विश्व भर के पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करता है।
जयपुर दर्शन – प्रातःकालीन पैदल भ्रमण
आज 29 फरवरी थी, यानि जयपुर प्रवास का हमारा अंतिम दिन ! पिछले दो दिनों में पुराने, यानि गुलाबी जयपुर को ठीक से देखने का अवसर नहीं मिल पाया था। आज जयपुर को विदा कहने से पहले यदि पुराने…
जयपुर दर्शन – जयगढ़ दुर्ग
जयपुर के जयगढ़ दुर्ग में रखी गयी जयवाण तोप इस किले का प्रमुख आकर्षण है। इंदिरा गांधी पर इस किले से सारा खज़ाना ले जाने के आरोप भी लगते रहे हैं।
जयपुर दर्शन – नाहरगढ़ दुर्ग
जयपुर के नाहरगढ़ दुर्ग से जयपुर का विहंगम दृश्य रात को बहुत आकर्षक लगता है। नाहरगढ़ दुर्ग के रेस्टोरेंट रात को भी खुलते हैं।
जयपुर दर्शन – अल्बर्ट हॉल म्यूज़ियम
अल्बर्ट म्यूज़ियम का भवन स्वयं में एक भव्य कलाकृति है जिसका निर्माण 1876 में आरंभ होकर 1887 में संपन्न हुआ था। उल्लेखनीय है कि सन् 1876 में इंग्लैंड से प्रिंस एल्बर्ट एडवर्ड के आगमन के अवसर पर महाराजा सवाई माधोसिंह द्वितीय द्वारा इस भवन का निर्माण कराया गया था।